प्रेम उपदेश:-(परम गुरु हुज़ूर महाराज)
19. जिस किसी सच्चे प्रेमी का यह हाल है कि जब किसी की भक्ति की बढ़ती का हाल सुनता है, तब ही अपनी ओछी हालत से मिला कर सुस्त और फ़िक्रमंद हो जाता है, सो यह बहुत अच्छा है और यह निशान दया का है। इसी तरह इस जीव को ख़बर पड़ती है और अपनी हालतों को देखता है और अपने मत को चित्त से सुनता है और विचारता है। ग़रज़ कि इसमें सब तरह की गढ़त है, इसको दया समझो।
20. जो वक्त़ ध्यान और भजन के बजाय स्वरूप सतगुरु के कुटुम्बी और मित्रों की सूरतें नज़र आवें, उसका सबब यह है कि वह स्वरूप अभी हिरदे में धरे हैं, आहिस्ता आहिस्ता निकल जावेंगे। हुज़ूर राधास्वामी दयाल अपनी दया से सब तरह सफ़ाई करते हैं।
21. हुज़ूर राधास्वामी दयाल सब तरह से जीवों पर दया कर रहे हैं। और दया के भी अनेक रूप हैं, जैसे उदासी तबीयत की भी एक तरह की दया है। हर एक को यह उदासीनता नहीं मिलती। इसमें भी कुछ भेद है। ऐसा नहीं होता कि हर वक्त़ तबीयत सुस्त रहे, पर किसी क़दर सुस्ती और उदासीनता रहने से बड़े फ़ायदे हैं।
22. हुज़ूर राधास्वामी दयाल आप सबको अंतर में सँभालते हैं, पर एक सतसंगी दूसरे सतसंगी का हाल देख कर जो अपनी समझ के मुवाफ़िक़ कोई बचन समझौती का सुझावे, तो उसमें कुछ हर्ज नहीं है। पर इतना कहना सब के वास्ते ठीक है कि हुज़ूर राधास्वामी दीनदयाल और समर्थ हैं और जिस जिस ने उनके चरनों की सरन सच्ची ली है, उसकी फ़िक्र और ख़बरगीरी वे आप करते हैं। पर उनकी दया की सूरतें अनेक हैं और वे सच्चे प्रेमी और बिरही को, जो निरख परख के साथ चलता है, अंतर और बाहर जल्द मालूम पड़ती हैं।. 23. जैसी हालत जिस किसी सच्चे प्रेमी पर जब तब गुज़रती है, वह हुज़ूर राधास्वामी दयाल की मौज और दया से है और उस हालत में हुज़ूर राधास्वामी दयाल अपनी मेहर से आहिस्ता आहिस्ता तरक़्क़ी परमार्थ की बख़्शते जावेंगे, यानी कोई दिन सुस्ती और बेकली और कोई दिन आनंद और मगनता। यह दोनों हालतें संग संग चलेंगी। बेकली और घबराहट और सुस्ती ऐसी है जैसी सूरज की गर्मी, और शांति और आनंद, जो उसके पीछे प्राप्त होवे, वह ऐसा है जैसे वर्षा मेघ की। इन दोनों का आपस में जोड़ और संग है, सो किसी को घबराना नहीं चाहिए। और बहुत जल्दी करना भी मुनासिब नहीं है, क्योंकि मनुष्य की जल्दी से कुछ कारज नहीं बन सकता है। हुज़ूर राधास्वामी समर्थ दयाल प्रेमी और दर्दी भक्तों की चाह के मुवाफ़िक़ बहुत जल्दी काम बनाते हैं, पर इस दया की ख़बर धीरे धीरे मालूम पड़ेगी। शुरू में इसकी परख बहुत कम होती है।
🙏🏻राधास्वामी🙏🏻**
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